नितीश मिश्र, राँची
राँची (ख़बर आजतक) : राजधानी राँची स्थित सरला बिरला विश्वविद्यालय के फैकल्टी ऑफ जर्नलिज्म और मास कम्युनिकेशन की ओर से सोमवार को एक्सपर्ट टॉक का आयोजन किया गया। विषय था- भावी दुनिया में भारत, विशेष संदर्भ: मीडिया की भूमिका। मुख्य ये बाते मुख्य वक्ता के रूप में उपस्थित राजयसभा के उपसभापति हरिवंश ने कही। कहा कि जिस तरह आज तकनीक की दुनिया निरंतर बदल रही है,
ऐसे में नवाचार आज के दौर की महती आवश्यकता है। इसे अवसर में तब्दील करने और प्रोत्साहित करने की जरूरत है। उन्होंने ताईवान का उदाहरण देते हुए कहा कि पूरी दुनिया में 61 प्रतिशत चिप यहीं से निर्यात होते हैं। यह नवाचार, अपने काम के प्रति ईमानदारी और तकनीक का ही चमत्कार है, जिससे ताईवान इस प्रशंसनीय स्तर तक पहुंच पाने में कामयाब हो पाया। हम भी समय का मूल्य समझें, नए विचारों के साथ तालमेल बैठाएं तो तकनीक के क्षेत्र में लंबी छलांग लगाने की स्थिति में होंगे.
उन्होंने कहा कि भारतीय पत्रकारों को भी अपनी भूमिका पर विचार करना होगा। गणेश शंकर विद्यार्थी की पत्रकारों के लिए तय की गई कसौटी में देश को केंद्र बिंदु में रखा गया है, उसी तर्ज पर पत्रकारों को भी अपने दायित्व का निर्वहन करने के प्रति सजग रहना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि वे दिन गए, जब भारत को संपेरों का देश कहा जाता था। यहां तक कि पश्चिम के नामी- गिरामी अखबारों में भी भारत की अति महत्वपूर्ण खबरें मात्र दो या तीन लाइनों में सिमटा दी जाती थीं। लेकिन आज के दौर में विकसित देशों में भारत की अलग पहचान बनी है।
स्टार्टअप्स में हमारे देश के बच्चे लगातार आगे बढ़ रहे हैं। हरिवंश ने कहा कि आज भारत विश्व की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है। जहां विभिन्न बीमारियों की वैक्सीन को विकासशील और अल्प विकसित देशों में आने में दशकों का समय लगता था, वहीं भारत ने कोरोना वैक्सीन को बहुत कम समय में ही बाजार में उपलब्ध करवा कर पूरी दुनिया में अपनी धाक जमायी। आज डिजीटल इकोनामी के क्षेत्र में भारत की सराहना पूरे विश्व में हो रही है।