नितीश_मिश्र
राँची(खबर_आजतक): फेडरेशन चैम्बर की अहारी उप समिति की बैठक शनिवार को चैम्बर भवन में संपन्न हुई। इस बैठक में राज्य के किसानों की समस्या एवं राँची के वाणिज्यिक खेती एवं कृषि उद्योग के विकास की चर्चा की गई। राज्य के अनेकों किसान को प्रधानमंत्री सम्मान निधि का लाभ नहीं मिल रहा है। मुख्यमंत्री एवं कृषि मंत्री व सभी सांसद एवं विधायक से अपील की जाती है कि सभी प्रखंड में एक सप्ताह का शिविर लगवाकर यह व्यवस्था की जाये के सभी किसानों को इस योजना का लाभ मिल जाए। राज्य में वाणिज्यिक बागवानी एवं अन्य नगदी फसलों की खेती की असीम संभावनाएँ हैं। राज्य में अधिकांश खेत में सिंचाई सुविधा एवं पूंजी के अभाव में अनेकों किसान अपनी भूमि में खेती नहीं कर पा रहे हैं। इस कारण राज्य के लाखों ग्रामीण का अन्य राज्य में पलायन हो रहा है। राज्य के अनेक उद्यमी एवं प्रगतिशील किसान वाणिज्यिक खेती करने को इच्छुक है वे रिक्त पड़े खेत को लीज में लेकर खेती करना चाहते हैं परन्तु राज्य के कानूनी प्रावधानुसार खेती के लिए 5 वर्ष की लीज का प्रावधान है जो वाणिज्यिक खेती के लिए व्यावहारिक नहीं है। मुख्यमंत्री एवं राज्य सरकार से अपील है कि लीज की अवधि को 5 वर्ष से बढ़ाकर कम से कम 10 वर्ष का कर दिया जाए।
अहारी उप समिति के चेयरमैन आनंद कोठारी ने बताया कि चैम्बर की तरफ से राज्य में वाणिज्यिक खेती एवं कृषि उद्योग के विकास का हर संभव प्रयास किया जा रहा है।
चैम्बर अध्यक्ष किशोर मंत्री ने मुख्यमंत्री चम्पाई सोरेन एवं राज्य सरकार से अपील की वाणिज्यिक कृषि एवं कृषि आधारित उद्योग को विकसित करने के लिए आवश्यक आधारभूत संरचना को विकसित किया जाये एवं कृषि विभाग द्वारा सभी जिलों में सिंगल विंडो सेवा की व्यवस्था की जाए।