राँची

सरला बिरला विश्वविद्यालय में “बढ़ता भारत, बदलता भारत” पर किया गया सेमिनार का आयोजन

नितीश_मिश्र

राँची(खबर_आजतक) : सरला बिरला विश्वविद्यालय में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में “बढ़ता भारत, बदलता भारत” विषय पर सेमिनार का आयोजन किया गया है जिसमें बतौर मुख्य वक्ता दिल्ली विश्वविद्यालय के प्राध्यापक, प्रसिद्ध राष्ट्रीय चिंतक एवं राज्यसभा सांसद डॉ राकेश कुमार सिन्हा ने अपने व्यक्तव्य में कहा कि भारत में भारत की ज्ञान परंपरा की जगह यूरोप केंद्रित शिक्षा को विशेष महत्व दिया जाने लगा था जिससे मैकाले के विचार से प्रेरित केवल क्लर्क की मानसिकता के नागरिक ही पैदा हो रहे थे। अब नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के माध्यम से देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी यूरोप केंद्रित भारत को भारत केंद्रित भारत बनाने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारत सदैव अपनी ज्ञान परंपरा के बदौलत ही विश्व गुरु था और आगे भी बनेगा।
उन्होंने भारत के प्राचीन गौरवशाली इतिहास पर चर्चा करते हुए कहा कि नालंदा, तक्षशिला विश्वविद्यालय के सपनों के अनुरूप शिक्षा को बनाने के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 अवश्य ही सक्षम एवं कारगर होगी। भारतीय इतिहास की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि भारत का इतिहास गौरवशाली एवं समृद्ध रहा है तथा सनातन काल से भारत विश्व में संपूर्ण सम्पन्न राष्ट्र रहा है। मुगल काल से पहले की स्थिति और मुगल काल के बाद की स्थिति पर विशेष चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि विगत ढाई सौ सालों में भारत को क्या से क्या बना दिया कर रख दिया गया था?
उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के बाद व्यक्ति से अधिक विचार एवं प्रगति से अधिक प्रकार के मायने बदले हैं।
इस दौरान प्रबुद्ध जनों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि भारत की वास्तविक पहचान मिटाने के लिए सही तथ्यों को इतिहास से बाहर रखने का साजिश किया गया। आज देश के प्रधानमंत्री भारत की खोई हुई गौरव, पहचान और साजिश के तहत दबाई गई इतिहास को उजागर करने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं।

भारत के गौरवशाली इतिहास के पक्ष में कई ऐतिहासिक उदाहरणों एवं घटनाओं के द्वारा उन्होंने भारतीय होने के गौरव से अनुभूति कराते हुए कहा कि प्रधानमंत्री मोदी जी से पूर्व पद्मश्री का सम्मान वैसे लोगों को दिया जाता था जो किसी खास लोगों के खास होते थे लेकिन आज मोदी जी के कार्यकाल में ग्रामीण एवं दुर्गम स्थानो में रहने वाले लोगों को उनके मेहनत, डेडिकेशन एवं उनके प्रेरक कार्यों के लिए प्रदान किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि आज भारत सांस्कृतिक,आर्थिक, आध्यात्मिक एवम सामाजिक सभी क्षेत्रों में आत्म गौरव के साथ आगे बढ़ रहा है जिसमें काफी कुछ सकारात्मक बदलाव नित्य प्रति देखने को मिलते हैं।

इस कार्यक्रम में स्वागत व्यक्तव देते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफ़ेसर गोपाल पाठक ने “बदलता भारत, बढ़ता भारत” विषय पर अपने विचार व्यक्त किए।

सरला बिरला विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रोफेसर विजय कुमार सिंह ने अंत में धन्यवाद ज्ञापन की औपचारिकता पूरी की। उन्होने शुक्रवार को कहा कि देश के प्रधानमंत्री मोदी के माताजी के निधन के दुखद खबर मिलने के पश्चात संध्या समय विश्वविद्यालय सभागार में श्रद्धांजलि कार्यक्रम आयोजित कर मृतक आत्मा की शांति के लिए विश्वविद्यालय के पदाधिकारियों प्राध्यापकों एवं कर्मियों द्वारा दो मिनट का मौन रखा गया।

इस अवसर पर विश्वविद्यालय के मुख्य कार्यकारी पदाधिकारी डॉ प्रदीप कुमार वर्मा, कुलपति प्रोफेसर गोपाल पाठक कुलसचिव प्रोफेसर विजय कुमार सिंह, पाँकी विधायक सह ऑक्सफोर्ड स्कूल के डायरेक्टर शशिभूषण मेहता, प्रो नीलिमा पाठक, डॉ संदीप कुमार, डॉ सुबानी बाड़ा, हरी बाबू शुक्ला, नरहरी दास, प्रो अमित गुप्ता, आरएसएस नगर सह संचालक बृजेश कुमार, शिवपूजन पाठक, सुरेन्द्र कुमार, अजय कुमार, प्रवीण कुमार, सतीश कुमार, डॉ भारद्वाज शुक्ल, अनुभव अंकित, प्रो आदित्य विक्रम वर्मा, आदित्य रंजन, ऋषि राज जमुआर, प्रशांत जमुआर आदि उपस्थित थे।

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