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डीपीएस बोकारो में दो-दिवसीय योगासन तकनीकी प्रशिक्षण संपन्न

विभिन्न विद्यालयों के 125 विद्यार्थियों ने सीखे योग स्पर्धाओं के गुर

तन, मन और आत्मा को जोड़ने की सनातन विद्या है योग : डॉ. गंगवार

बोकारो (ख़बर आजतक) : बोकारो जिला योगासना स्पोर्ट एसोसिएशन की ओर से डीपीएस बोकारो में आयोजित योगासन संबंधी दो-दिवसीय तकनीकी प्रशिक्षण का समापन रविवार को हुआ। दो दिनों की इस अवधि में डीपीएस बोकारो सहित शहर के विभिन्न विद्यालयों के लगभग 125 छात्र-छात्राओं को योगासन से संबंधित तकनीकी गुर सिखाए गए। कार्यक्रम में बतौर रिसोर्स पर्सन झारखंड योग-रत्न से सम्मानित अंतरराष्ट्रीय प्रशिक्षक विकास गोप एवं राष्ट्रीय प्रशिक्षक शंकर राणा ने प्रतिभागी बच्चों को योगासनों से संबंधित सैद्धांतिक एवं व्यावहारिक पहलुओं की विस्तारपूर्वक जानकारी दी। कार्यक्रम का उद्घाटन एसोसिएशन के अध्यक्ष एवं डीपीएस बोकारो के प्राचार्य डॉ. ए एस गंगवार ने अभ्यागत रिसोर्स पर्सन्स के साथ संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया। इस अवसर पर संगठन के उपाध्यक्ष एवं डीपीएस बोकारो के वरीय उप प्राचार्य अंजनी भूषण, जिला सचिव एवं डीपीएस बोकारो के क्रीड़ा शिक्षक ब्रजेश कुमार सिंह, संयुक्त सचिव एवं डीपीएस बोकारो की खेल शिक्षिका निभा कुमारी तथा कोषाध्यक्ष सह दिल्ली पब्लिक स्कूल बोकारो के प्रशासक राजन सिंह के अलावा विभिन्न विद्यालयों के क्रीडा शिक्षक एवं बड़ी संख्या में विद्यार्थी उपस्थित थे।

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अपने संबोधन में डॉ. गंगवार ने सभी प्रतिभागी बच्चों एवं शिक्षकों का स्वागत करते हुए योग की महत्ता पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि योग शरीर, मन एवं आत्मा को एक-दूसरे से जोड़ने की भारत की सनातन व प्राचीन विद्या है। यह हमारे शारीरिक, मानसिक एवं आध्यात्मिक पहलुओं पर सकारात्मक प्रभाव डालता है। उन्होंने क्रीड़ा के रूप में योग का प्रचार-प्रसार एक अभिनव प्रयास एवं महत्वपूर्ण बताया। यह भी कहा कि विद्यार्थियों के पठन-पाठन में एकाग्रता तथा उनकी अतः चेतना के विकास में योग काफी आवश्यक है। प्रशिक्षण के समापन पर उन्होंने विद्यालयवार प्रशिक्षुओं को प्रमाण-पत्र दिया, वहीं रिसोर्स पर्सन को स्मृति चिह्न भेंटकर सम्मानित किया।

एशियाई खेल व ओलंपिक में भी होगी योग-क्रीड़ा
रिसोर्स पर्सन विकास गोप ने बताया कि अब शिक्षा नीति में भी योगासनों को शामिल गया है। वर्ष 2026 में एशियाई खेलों और भारत की मेजबानी में 2036 होने जा रहे ओलंपिक में योग संबंधी क्रीड़ाएं होंगी। उन्होंने कहा कि बच्चों में योग के प्रति जागरूकता अति आवश्यक है। इस दिशा में इस प्रकार का प्रशिक्षण प्रतियोगिता से पूर्व महत्वपूर्ण है।

12 योग स्पर्धाओं की दी विस्तृत जानकारी
रिसोर्स पर्सन श्री गोप व श्री राणा ने कार्यक्रम में शामिल प्रतिभागी बच्चों को योग प्रतियोगिताओं के पैटर्न, खेल के रूप में योग की वैश्विक महत्ता, विभिन्न प्रकार की योग स्पर्धाओं, आसनों के प्रकार, आसन विशेष के निर्धारित समय, आयुवार उसकी आवश्यकता एवं महत्व, शारीरिक संतुलन आदि की विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि 12 प्रकार की योग स्पर्धाएं होती हैं और 84 लाख आसन हैं। कार्यक्रम में पारंपरिक योग एवं कलात्मक योग की विभिन्न स्पर्धाओं से संबंधित सैद्धांतिक एवं व्यावहारिक जानकारी प्रदान की गई। उद्घाटन समारोह का संचालन डीपीएस बोकारो की खेल सचिव अनन्या राज ने किया।

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